अजित पवार की पलटी पर गहलोत बोले: धनबल, केन्द्रीय एजेंसियों के दम पर विपक्ष को खत्म कर रही भाजपा

आठ विधायकों के साथ शिवसेना की शिंदे सरकार में उपमुख्यमंत्री बन गए एनसीपी के अजित पवार

आरएनई, नेशनल ब्यूरो। महाराष्ट्र में रविवार को अचानक हुए राजनीतिक घटनाक्रम के चलते एनसीपी के आठ विधायकों के साथ शिवसेना की शिंदे सरकार में जा मिले अजित पवार के उपमुख्यमंत्री बनने की घटना ने देशभर में राजनीतिक हलचल पैदा की है।

राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस घटनाक्रम पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। गहलोत ने कहा है कि महाराष्ट्र में आज जो राजनीतिक घटनाक्रम हुआ है वो दिखाता है कि धनबल एवं केन्द्रीय एजेंसियों के दम पर भाजपा विपक्षी पार्टियों को खत्म कर देना चाहती है। इसकी जितनी निंदा की जाए वो कम है। कल तक अजीत पवार सहित जिन नेताओं पर भाजपा भ्रष्टाचार के आरोप लगाती थी उन सभी को मंत्रिमंडल में शामिल कर लिया। भाजपा विपक्षी पार्टियों के एक साथ आने की प्रक्रिया शुरू होने के बाद से ही घबरायी हुई है जिसके कारण केन्द्रीय एजेंसियों से दबाव डालकर क्षेत्रीय दलों को तोड़ रही है। भाजपा कितना भी कुप्रयास कर ले, जनता ने तय कर लिया है कि लोकतंत्र की हत्या के इन प्रयासों को नाकाम कर समय आने पर अनुकूल जवाब देगी।

महाराष्ट्र में अचानक यह हुआ घटनाक्रम:

रविवार दोपहर लगभग ढाई बजे एनसीपी नेता अजित पवार का ट्विटर प्रोफाइल बदल गया। वहां एनसीपी नेता की बजाय लिख दिया गया ‘डिप्टी सीएम‘। यह प्रोफाइल बदलने से कुछ देर पहले ही वे अचानक अपने आठ समर्थक विधायकों छगन भुजबल, धनंजय मुंडे, दिलीप पाटिल, संजय बनसोड़े, अनिल पाटिल, धर्मराव अत्राम, संजय मुश्रीफ अदिति तटकरे के साथ राजभवन पहुंचे थे। सीएम शिंदे और डिप्टी सीएम देवेन्द्र फड़णवीस वहां पहले ही पहुंच गए थे। पवार ने डिप्टी सीएम  वहीं आठों विधायकों ने भी मंत्री पद की शपथ ले ली।


महाराष्ट्र में अगले साल विधानसभा चुनाव है। इससे पहले शरद पवार और अजित पवार के बीच तलिख्यां-दूरियां काफी समय से सामने आ रही थी। हालांकि इसके कारण कई रहे हैं। मोटे तौर पर जो सामने आया है वो यह है कि अजित सहित बाकी विधायक शरद पवार और राहुल के साथ विपक्षी एकता में साथ जाने से नाराज थे। इन नेताओं को मलाल इस बात का भी है कि शरद पवार ने यह फैसला बगैर राय-मशविरे अकेले लिया है।

प्रेस के सामने बोले अजित-शिंदे का साथ देने में कोई गलती नहीं:

उपमुख्यमंत्री बनकर निकले अजित पवार को पत्रकारों ने शिंदे के साथ जाने पर सवाल किया तो वे बोले, इसमें कोई गलत नहीं है। उद्धव के साथ जब हमने सरकार बनाई थी तो अब शिंदे के साथ भी बना सकते हैं। यह निर्णय महाराष्ट्र के विकास के लिए लिया है।

अब कुछ मंत्री और बनेंगे:

अभी तक जो स्थिति सामने आई है उससे लगता है कि अभी एनसीपी के कुछ और विधायक मंत्री बनने की कतार में हैं। अजित पवार ने कहा भी है, अभी मंत्रिमंडल का और विस्तार होगा।

शरद बोले-पार्टी फिर खड़ी होगी:

पूरे घटनाक्रम के बाद शरद पवार भी मीडिया के सामने आए। बोले-पूरे प्रदेश में कार्यकर्ताओं के बीच जाऊंगा। पार्टी मैंने बनाई है, इसे फिर से खड़ा करूंगा। मुझे कार्यकर्ताओं पर भरोसा है। वर्ष 2024 का चुनाव विपक्षी एकता की भावना के साथ लड़ा जाएगा।

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